भगवान शिव की पूजा बेहद लाभदायी मानी जाती है। शिवजी को औघड़दानी भी कहते हैं। क्योंकि वह अपने भक्तों से तुरंत प्रसन्न हो जाते हैं। उनकी पूजा में ज्यादा किसी सामग्री की आवश्यकता नहीं होती। ऐसा कहा जाता है कि शिवजी की पूजा से जीवन की सभी संकट दूर होते हैं साथ ही घर में संपन्नता बनी रहती है। वही आज हम भोलेनाथ के कैसे मंदिर का जिक्र करेंगे जहां पर शुभ कार्यों के लिए किसी तिथि को शुभ मुहूर्त की आवश्यकता नहीं होती है।
आइये इसके बारे में जान लेते है।
पूरे साल होते हैं यहां मांगलिक कार्य
झारखंड राज्य के देवघर नामक स्थान में बाबा बैद्यनाथ का एक ऐसा मंदिर है जिसको लेकर कहा जाता है कि यहां पर किसी भी अशुभ तिथि और खरमास के समय को कोशिव धाम में सुविधा में पूरे सालमांगलिक कार्य के लिए भी किसी भी शुभ तिथि और समय की आवश्यकता नहीं होती।
इस चमत्कारी मंदिर में भक्त दूर-दूर से दर्शन करने आते हैं
शिव मंदिर के शिखर में आपने त्रिशूल देखा होगा लेकिन यह एक मात्र ऐसा धाम है जहाँ त्रिशूल के स्थान पर पंचशूल को विराजमान किया गया है। पंचशूल को इस मंदिर में सुरक्षा कवच माना जाता है जिसे हर साल महाशिवरात्रि से ठीक है एक दिन पहले विधि – विधान के साथ मंदिर के शिखर पुनः स्थापित किया जाता है। इस चमत्कारी मंदिर में भक्त दूर-दूर से दर्शन करने आते हैं जहां उनकी सभी मनोकामना पूर्ण होती है।